Dwarahat almora BDC election 2025: द्वाराहाट: गनोली बूथ पर होगी पुनर्मतदान प्रक्रिया, निर्वाचन आयोग ने दिए आदेश
Ganoli Dwarahat Almora BDC election 2025: इस वक्त की सबसे बड़ी खबर उत्तराखण्ड के अल्मोड़ा जिले से सामने आ रही है जहां द्वाराहाट विकासखंड के गनोली गांव में क्षेत्र पंचायत सदस्य पद के लिए बुधवार 30 जुलाई को पुनर्मतदान होने जा रहा है। दरअसल त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव 2025 के दूसरे चरण में बीते सोमवार 28 जुलाई को द्वाराहाट विकासखंड के गनोली गांव में मतदान प्रक्रिया में सामने आई गड़बड़ी के बाद राज्य निर्वाचन आयोग ने इस बूथ पर पुनर्मतदान कराने के आदेश दिए हैं। यह निर्णय निर्वाचन की निष्पक्षता व पारदर्शिता को बनाए रखने के उद्देश्य से लिया गया है। जिसके बाद अब 30 जुलाई 2025, बुधवार को इस केंद्र पर सदस्य क्षेत्र पंचायत पद के लिए फिर से मतदान कराया जाएगा। यह भी पढ़ें- JNV Admission: जवाहर नवोदय विद्यालय प्रवेश परीक्षा, 9वीं 11वीं के लिए आवेदन शुरू
क्या है पूरा मामला? Almora panchayat re-election chunav 2025
आपको बता दें कि सोमवार, 28 जुलाई को हुए मतदान के दौरान गनोली स्थित राजकीय प्राथमिक विद्यालय (मतदेय स्थल संख्या 46) में क्षेत्र पंचायत सदस्य पद की प्रत्याशी कुंती फुलारा ने चुनाव प्रक्रिया पर गंभीर सवाल उठाए थे। मतदान के बीच एक समर्थक मतदाता ने बाहर आकर यह जानकारी दी कि करीब 25 मतपत्रों में चुनाव चिह्न इस तरह से फटे हुए हैं कि आधा हिस्सा मतपत्र की काउंटर फाइल में चिपका रह गया, जिससे मतदाताओं को उम्मीदवार की पहचान करने में परेशानी हुई।
इस जानकारी के बाद प्रत्याशी कुंती फुलारा ने पीठासीन अधिकारी से आधिकारिक शिकायत दर्ज कराई थी। मौके पर तैनात सेक्टर मजिस्ट्रेट राजेंद्रनाथ ने जब मतपत्रों की जांच की, तो त्रुटि की पुष्टि हुई थी। जिसके बाद फुलारा समर्थकों ने आरोप लगाया कि यह गड़बड़ी जानबूझकर की गई साजिश है जिससे प्रत्याशी को चुनाव में हराया जा सके। उन्होंने मतदान निरस्त करने और दोबारा चुनाव कराने की मांग की थी। यह भी पढ़ें- Uttarakhand panchayat election: पंचायत चुनाव बड़ा अपडेट पुनर्मतदान की तिथि घोषित
निर्वाचन आयोग ने दी पुनर्मतदान की अनुमति uttarakhand panchayat election chunav 2025
घटना को गंभीर मानते हुए जिला निर्वाचन अधिकारी ने इस संबंध में रिपोर्ट राज्य निर्वाचन आयोग को भेजी। आयोग ने गहन विचार और प्रारंभिक जांच के बाद यह माना कि मतदान में पारदर्शिता प्रभावित हुई है। इस आधार पर 30 जुलाई को पुनर्मतदान की अनुमति दी गई है। आयोग ने स्पष्ट निर्देश दिए हैं कि इस मामले की विस्तृत जांच की जाए और यदि किसी की लापरवाही या दुर्भावना सिद्ध होती है तो उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाए।