rishikesh karanprayag railway line completion date: ऋषिकेश से कर्णप्रयाग तक 2026 मे पटरी पर दौड़ेगी ट्रेन…..
rishikesh karanprayag railway line completion date: गौरतलब हो कि ऋषिकेश – कर्णप्रयाग रेल परियोजना का कार्य वर्ष 2015 से शुरू किया गया था। जिसका उद्देश्य राज्य के पर्वतीय क्षेत्रों में बेहतर कनेक्टिविटी प्रदान करना है। दरअसल यह रेलवे लाइन उत्तराखंड के योगनगरी ऋषिकेश से शुरू होकर चमोली जिले के कर्णप्रयाग तक जाएगी जो कुल मिलाकर 125 किलोमीटर लंबी है। इस परियोजना के अंतर्गत 16 सुरंग और 16 पूलों का निर्माण किया जाएगा जिसमें सुरंग की लंबाई लगभग 105 किलोमीटर है जिससे पहाड़ी इलाकों की भौगोलिक चुनौतियों का समाधान किया जा सकेगा। इतना ही नही इस रूट मे कुल 12 स्टेशन होंगे जिनमें ऋषिकेश, देवप्रयाग , श्रीनगर , रुद्रप्रयाग और कर्णप्रयाग शामिल है। ऋषिकेश- कर्णप्रयाग का कार्य जोरों शोर से हो रहा है। जो लगभग 2026 तक बनकर पूरी तरह से तैयार हो जाएगा और इस मार्ग पर ट्रेन गुजरने लगेगी।
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rishikesh new railway station
बता दें ऋषिकेश कर्णप्रयाग रेलवे लाइन 28 सालों से चर्चा में है। सतपाल महाराज के केंद्रीय मंत्री रहते हुए 1996 में इस रेलवे लाइन के लिए सर्वेक्षण किया गया था लेकिन काम सर्वेक्षण से आगे नहीं बढ़ा। इसके बाद वर्ष 2014 में केंद्र में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सरकार बनने से इस परियोजना ने तेज गति पकड़ी और साल 2015 में ऋषिकेश कर्णप्रयाग रेलवे लाइन बननी शुरू हुई। इस परियोजना में रेलवे लाइन बिछाने पर करीब 16,200 करोड़ रुपए खर्च होंगे। जिसके बनने से 6 घंटे का सफर 2 घंटे में पूरा किया जा सकेगा। इतना ही नही राष्ट्रीय एवं सामरिक महत्व की बहु प्रतीक्षित इस परियोजना पर सुरंग की खुदाई और अन्य निर्माण कार्य वर्ष 2025 के दिसंबर माह तक पूरा हो जाएगा। जिसके पश्चात वर्ष 2026 में ऋषिकेश से कर्णप्रयाग तक रेल पहुंच जाएगी।
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बता दें कि परियोजना की मुख्य सुरंगों के साथ आपात स्थिति के लिए निकास सुरंग तथा इन दोनों सुरंग को जोड़ने के लिए क्रॉस पैकेज तथा निकास सुरंग को नेशनल हाईवे से जोड़ने के लिए एडिट सुरंग का निर्माण किया जा रहा है। अब तक परियोजना के 213. 4 किलोमीटर में से 153.6 किलोमीटर 73% सुरंग की खुदाई का कार्य पूरा हो चुका है इसके पश्चात सुरंग में 20 किलोमीटर तक अंतिम कंक्रीट बिछाने का कार्य भी पूरा हो चुका है। इस परियोजना के तहत 16 प्रमुख पुलों में से श्रीनगर, गोचर, तथा कालेश्वर ( सिवाई) मे रेलवे स्टेशन को राष्ट्रीय राजमार्ग से जोड़ने के लिए मोटर पुलों का निर्माण कार्य भी पूरा कर लिया गया है। इसके साथ ही ब्रॉड गेज रेल लाइन के लिए भी टेंडर की प्रक्रिया अंतिम चरण में है जिसे शीघ्र ही शुरू किया जाएगा। इसके बाद यह परियोजना रेल गाड़ियों के संचालन के लिए पूर्ण रूप से तैयार हो जाएगी।