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dehradun women safety index wrong notice issued servey company news today
Image : social media ( Dehradun women safety index)

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Dehradun women safety index: देहरादून महिला सर्वेक्षण करने वाली सर्वे कंपनी को नोटिस

Dehradun women safety index: देहरादून को देश के 10 सबसे असुरक्षित शहरों में शामिल करने पर निजी सर्वे कंपनी के संस्थापक को नोटिस हुआ जारी, तथ्यात्मक आंकड़ो के साथ पेश होने के निर्देश…

dehradun women safety index wrong notice issued servey company news today: उत्तराखंड की राजधानी देहरादून मे महिला सुरक्षा पर एक निजी सर्वे कंपनी के आधार पर देहरादून को देश के 10 सबसे असुरक्षित शहरों में शामिल किया गया हैं। जिसके बाद से देहरादून में महिला सुरक्षा को लेकर गंभीर सवाल उठने लगे हैं। वहीं महिला सुरक्षा पर निजी सर्वे कंपनी द्वारा भ्रामक रिपोर्ट पर एसएसपी ने एसपी ऋषिकेश को जांच सौंपी है। इतना ही नहीं बल्कि एसपी ने सर्वे करने वाली कंपनी पी वैल्यू एनालिटिक्स के संस्थापक और प्रबंध निदेशालय प्रहलाद राउत को नोटिस जारी कर तीन दिन मे सभी तथ्यात्मक आंकड़ों के साथ पेश होने का निर्देश दिया है।

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अभी तक मिली जानकारी के अनुसार SSP अजय सिंह का कहना है कि कम्पनी की ओर से नेशनल एनुअल रिपोर्ट इंडेक्स और इंडेक्स ऑन वूमेन सेफ्टी नारी 2025 के साथ एक सर्वे रिपोर्ट प्रकाशित की गई है जिसमें देश के टॉप 10 असुरक्षित शहरों में देहरादून को शामिल किया गया है। हालांकि यह सर्वेक्षण ना तो राष्ट्रीय महिला आयोग और ना ही राज्य महिला आयोग की ओर से किया गया है। लेकिन इस सर्वे की वजह से देहरादून में अभिभावक महिलाओं और युवतियों के मध्य सुरक्षा पर नकारात्मक माहौल बना है। इतना ही नहीं बल्कि रिपोर्ट में जो आंकड़े दर्शाये गए हैं वो सरकारी आंकड़ों से मेल तक नहीं खाते हैं। किसी अन्य सरकारी सर्वेक्षण संस्थान की ओर से भी सर्वे नहीं कराया गया है। कंपनी ने स्वयं कंप्यूटर आस्टिेड टेलिफोनिक इंटरव्यू व कंप्यूटर आधारित पर्सनल इंटरव्यू से यह सर्वे किया है जिसमें कम्पनी ने स्वयं शहर की मात्र 12,770 महिलाओं से भौतिक रूप से सीधा संवाद ना कर टेलीफोन एक आधारित रिपोर्ट तैयार की है।

देहरादून के अलावा अन्य शहरों का भी किया गया सर्वे

देहरादून के अलावा 30 अन्य शहरों में कंपनी ने सर्वे किया है जबकि देहरादून में महिलाओं की लगभग 9 लाख की आबादी है। जिससे यह तो तय हो गया है कि कंपनी ने सिर्फ 0.04 प्रतिशत महिलाओं से वार्ता कर रिपोर्ट तैयार की है। पुलिस का कहना है कि महिला सुरक्षा के लिए बनाए गए गौरा शक्ति एप मे महिलाओं के 1.25 लाख पंजीकरण हो चुके हैं ,जिसमें 16, 649 पंजीकरण मात्र देहरादून के ही है। एसएसपी का कहना है कि इन आंकड़ों से यह रिपोर्ट पूरी तरह भ्रामक साबित हो रही है।

राज्य महिला आयोग ने राष्ट्रीय महिला आयोग को भेजा पत्र

राज्य महिला आयोग ने कंपनी द्वारा जारी की गई नारी 2025 की रिपोर्ट को लेकर कार्यवाही करना शुरू कर दिया है। आयोग ने कंपनी को नोटिस जारी कर 8 सितंबर को देहरादून पहुंचकर स्पष्टीकरण देने को कहा है। इसके साथ ही उत्तराखंड राज्य महिला आयोग की अध्यक्ष कुसुम कंडवाल ने कहा कि इस मामले में कार्यवाही करने के लिए राष्ट्रीय महिला आयोग को पत्र भेजा गया है। रिपोर्ट निजी कंपनी का आयोजन है इसका केंद्र सरकार या राष्ट्रीय राज्य महिला आयोग से कोई लेना-देना नहीं है। कंपनी ने बिना आधारित डाटा इस्तेमाल किए छोटे से सैंपल सर्वे के आधार पर रिपोर्ट जारी की है।

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