Pahari Namak pisyu loon: जाने पहाड़ी नमक की खासियत और बनाने की विधि, अब देश-विदेश में पहुंच रहा आनलाइन….
जहां एक और आजकल सभी स्वदेशी और विदेशों से बनी खाने-पीने के चीजों के शौकीन हो गए हैं वही इन सब के बीच इन दिनों उत्तराखंड में सिलबट्टे में पीस कर तैयार किये जाने वाला पहाड़ी नमक यानी की “पिस्यूं लूण”( Pisyu Loon) अपने स्वाद के कारण स्वदेश ही नही बल्कि विदेशों में भी धूम मचा रहा है। जी हां नमकवाली ब्रांड नाम से मशहूर यह पिस्यूं लूण न सिर्फ पहाड़ों बल्कि शहरों और देश विदेश में भी अपने स्वाद का तड़का बिखेर रहा है और देखते ही देखते आज रोजगार का एक बड़ा जरिया भी बन गया है तो चलिए आज हम बात करेंगे पहाड़ों में तैयार किए जाने वाले पीसा हुआ नमक की और देखेंगे कि किस प्रकार से यह पहाड़ी लोगों के लिए रोजगार का भी एक काफी बड़ा साधन बन रहा है।
(Pahari Namak pisyu loon)
यह भी पढ़ें- अल्मोड़ा में इस दुकान के मालपुए हैं इतने प्रसिद्ध की एक बार खाएंगे तो दीवाने हो जाएंगे
“पिस्यूं लूण” (पिसा नमक) (Pahadi Namak Recipe “Pisyu Loon”):-
पहाड़ी “पिस्यूं लूण” एक प्रकार का नमक है जो सिलबट्टे में पीसकर तैयार किया जाता हैl यह स्वाद में अत्यंत स्वादिष्ट होता है क्योंकि यह सिलबट्टे में पीसकर बनाया जाता है। इसमें नमक के साथ अदरक, लाल या हरी मिर्च, लहसुन, धनिया आदि का प्रयोग करके इसे तैयार किया जाता है। इसमें हरी मिर्च, लहसुन, हींग, जीरा, अदरक , तिल, धनिया, भुनी मिर्च काला जीरा,आदि कई प्रकार के मिर्च मसाले का प्रयोग किया जाता है और तब बहुत ही स्वादिष्ट अदरक लहसुन भांग और मिक्स फ्लेवर तथा लहसुन की काली का हरा नमक, तिल का नमक, सरसों का काला नमक, तिल का नमक, भुने हुए मसालों का नमक, आदि प्रकार का नमक तैयार किया जाता है।
(Pahari Namak pisyu loon)
यह भी पढ़ें- Uttarakhand Famous Food: उत्तराखंड के मुख्य एवं प्रसिद्ध पारंपरिक व्यंजन (भोजन)
“पिस्यूं लूण” (पिसा नमक) की खासियत (Specialty of “Pisyun Loon” (Ground Salt) ):-
इस नमक की खासियत यह है कि यह स्वाद में अत्यंत स्वादिष्ट होता है क्योंकि यह सिलबट्टे में पीसा जाता है और सिलबट्टे में पिसा नमक स्वाद में अत्यधिक स्वादिष्ट होता है यही कारण है कि यह नमक सिर्फ ना उत्तराखंड बल्कि देश विदेश में भी प्रसिद्ध है। इस नमक को हम रोटी से लेकर कोई भी कच्चे फ्रूट, चार्ट, फ्रूट चार्ट, खीरा या किसी भी प्रकार का चाट मसाला के रूप में इसका सेवन कर सकते हैं।
विदेशों तक नमक प्रसिद्ध है पहाड़ी नमक (Pahadi Namak in abroad):- इस नमक की धूम आज न सिर्फ उत्तराखंड बल्कि दिल्ली, महाराष्ट्र, गुजरात, और विदेशों में रहने वाले उत्तराखंडी लोगों तक भी पहुंच चूँकि है जिस कारण इसका स्वाद अब हर किसी के जुबान पर है। जिस कारण आब बाजार मे लगातार इसकी डिमांड बढ़ती जा रही है।
(Pahari Namak pisyu loon)
यह भी पढ़ें- Bal Mithai History: उत्तराखंड में सबसे पहले कहां से आई बाल मिठाई? जानें इतिहास….
पहाड़ी पिसा नमक न सिर्फ स्वाद और देश विदेश में धूम मचा रहा है। बल्कि यह पहाड़ों में रोजगार का एक बड़ा जरिया भी बन रहा है। इन दिनों पहाड़ की कई महिलाएं समूह बनाकर पहाड़ का पिसा नमक तैयार कर रही है और इसे तैयार करके पैकेट में भरकर इसे और उत्तराखंड से बाहर के शहरों में जगह-जगह बेच रही है। जिस कारण जहां एक ओर नमक खरीदने में लोगों की भरमार लग रही है वहीं यह महिलाओं और युवाओं के लिए आय का अच्छा जरिया भी बन रहा है। महिलाएं इसमे गांव-गांव से आकर जुड़ रही है और समूह में रहकर नमक तैयार कर रही है जिस कारण इससे रोजगार भी प्राप्त हो रहा है और यह रोजगार दिलाने का भी काम कर रहा है ।आज बाहर से कोई भी सैलानी एवं विदेशी उत्तराखंड की तरफ रुख करता है तो वह यहां का पिसा हुआ नमक लेकर जरूर जा रहा है।
(Pahari Namak pisyu loon)
यह भी पढ़ें- Lingda vegetable benifits: उत्तराखंड लिंगड़ा सब्जी इन बीमारियों में फायदेमंद
यही नही इन दिनों नमक वाली ब्रांड से मशहूर महिला देहरादून के थानों निवासी शशि रतूड़ी महिलाओं को रोजगार दिलाने और पहाड़ी नमक को विदेशों तक पहुंचाने के लिए के लिए जानी जा रह है। वह देहरादून में रहकर पहाड़ी नमक तैयार करती है और अपने साथ एक नही बल्कि कई महिलाओं को जोड़कर इस नमक को तैयार करके विदेशों तक पहुंच रही है। वह टिहरी चंबा थानों आदि से महिलाएं को एक समूह मैं जोड़कर सिलबट्टे में नमक तैयार करती हैं और इसे पैकेट में भरकर राज्य के कई बाजारों और नजदीकी टी स्टाल में बेचते हैं और सबको पहाड़ी नमक के स्वाद का मजा चखाते हैं। जिस कारण यह रोजगार का एक बड़ा जरिया तो बन ही रह है साथ ही हमारी संस्कृति को भी वह यह सब करके बचाये रख रहे हैं। तो इस प्रकार पहाड़ में बनने वाला पीसी नमक न सिर्फ स्वाद और औषधीय गुणों से भरपुर है बल्कि आज कई लोगों को रोजी रोटी का जरिया भी बन रहा है।
(Pahari Namak pisyu loon)