Uttarakhand: केमू, जीएमओयू के बाद अब पहाड़ के लिए बंद होगा मैक्स (Max), टैक्सी (Taxi), कैब का संचालन, यात्रियों को उठानी पड़ेगी परेशानी, जेब पर भी पड़ेगा असर..
उत्तराखण्ड (Uttarakhand) में कोरोना के लगातार बढ़ते कहर के कारण अब यातायात व्यवस्था भी चरमराने लगी है। भले ही सरकार द्वारा अभी तक सार्वजनिक परिवहन सेवाओं को बंद करने के आदेश जारी ना किए गए हों परन्तु वाहन क्षमता के 50 फीसदी यात्रियों के साथ संचालित होने एवं किराया न बढ़ाने की शर्तों ने यातायात व्यवस्था के पहिए जाम कर दिए हैं। यहीं कारण है कि बीते एक सप्ताह से जहां पहाड़ की लाइफलाइन कहीं जाने वाली केएमओयू (केमू) और जीएमओयू (गढ़वाल मोटर्स ऑनर्स यूनियन) के पहिए जाम होने से पहाड़ जाने वाले यात्रियों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। वहीं कुमाऊं मंडल के कई जिलों में टैक्सी संचालकों ने भी संचालन बंद कर दिया है। इसी बीच फिर एक बड़ी खबर आ रही है कि ऋषिकेश से भी पहाड़ जाने वाली मैक्स (Max), टैक्सी (Taxi) और कैब वाहनों का संचालन आगामी 11 मई से अनिश्चितकाल के लिए बंद हो जाएगा। सरकार द्वारा वाहनों में यात्रियों की संख्या 50 फीसदी करने के बाद से इन सभी कि मांग किराए में बढ़ोतरी को लेकर है।
यह भी पढ़ें- बड़ी खबर: उत्तराखंड रोडवेज की बसों को उत्तर प्रदेश मे नो एंट्री
प्राप्त जानकारी के अनुसार बीते शनिवार को ऋषिकेश के सोमो एसोसिएशन के कार्यालय में आयोजित हुई संयुक्त रोटेशन टैक्सी, मैक्स संचालक समिति ऋषिकेश, लक्ष्मणझूला की बैठक में सरकार के फैसलों की आलोचना करते हुए निर्णय लिया गया कि यदि सरकार उनके किराया बढ़ोतरी की मांगों पर कोई विचार नहीं करती तो 11 मई से वह भी पर्वतीय क्षेत्रों में विभिन्न रूटों पर संचालित होने वाले अपने वाहनों का संचालन बंद कर देंगे। बता दें कि इन्हीं मांगों के कारण केमू (कुमाऊं मोटर्स ऑनर्स यूनियन) एवं जीएमओयू (गढ़वाल मोटर्स ऑनर्स यूनियन) ने भी बीते दो मई से पहाड़ों के लिए बसों का संचालन बंद कर दिया है। इसी तरह कुछ टैक्सी यूनियनों ने भी बीते पांच मई से पहाड़ के लिए लोकल वाहनों का संचालन बंद कर दिया है। इन रूटों पर अब अब मैक्स या टैक्सी केवल बुकिंग पर ही उपलब्ध है। इन सभी वाहन संचालकों का कहना है कि सरकार ने 50 प्रतिशत क्षमता पर वाहनों के संचालन की व्यवस्था जारी की है परन्तु क्षमता घटाए जाने के बावजूद किराये में कोई बढ़ोतरी नहीं की गई है।
यह भी पढ़ें- उत्तराखंड सरकार ने जारी की गाइडलाइन, सार्वजनिक वाहनों में 50% यात्री ही कर सकेंगे सफर