आईआईटी जेईई परीक्षा परिणाम घोषित: उत्तराखण्ड में प्रांजल बने टॉपर ऑल इंडिया रैंक 143
पिता भी है वैज्ञानिक तो प्रांजल वॉयस की-बोर्ड बनाकर दिखा चुके हैं अपना हुनर
आईआईटी जेईई में उत्तराखंड के टापर प्रांजल अग्रवाल बचपन से ही हुनरमंद रहे हैं। ‘होनहार बिरवान के होते चिकने पात’ वाली कहावत को चरितार्थ करते हुए वह छोटी सी उम्र में ही वॉयस की-बोर्ड बना चुके हैं। बता दें कि इस वाइस कीबोर्ड को अब तक दुनिया में एक लाख से अधिक लोग डाउनलोड कर चुके हैं। देहरादून के कालीदास रोड निवासी प्रांजल के पिता डॉं. शिव प्रसाद अग्रवाल भी भारतीय सुदूर संवेदी संस्थान (आइआइआरएस) में वैज्ञानिक है। मूल रूप से उत्तर प्रदेश के आगरा निवासी प्रांजल की मां डॉ. मंजू अग्रवाल एक कुशल गृहणी हैं। कोचिंग के साथ घर पर रोजाना करीब सात घटे पढ़ाई करने वाले उत्तराखंड टापर प्रांजल का कहना है कि उन्होंने 11वीं से ही इस परीक्षा की तैयारिया शुरू कर दी थी। बताते चलें कि उनकी जेईई मेन में 315 अंक के साथ 528वीं रैंक थी। प्राजल के बड़े भाई वरुण अग्रवाल भी 2014 में आइआइटी के लिए चयनित हुए थे आईआईटी गाधीनगर से बीटेक करने के बाद वह वर्तमान में अमेरिका से पीएचडी कर रहे हैं। बाइटलैंड्स से 12 वीं की परीक्षाएं 97.75 अंकों के साथ उप्तीर्ण करने वाले प्रांजल अब आईआईटी दिल्ली या बांबे से कम्प्यूटर साइंस या इलेक्ट्रिानिक्स में इंजीनियरिग करना चाहते हैं।