जहाँ पुलवामा आतंकी हमले से पूरा देश में आक्रोश है और चारो ओर कोहराम मचा हुआ है , जिसके बाद जम्मू कश्मीर के ही राजोरी जिले में देहरादून के मेजर चित्रेश बिष्ट आईईडी ब्लास्ट में शाहिद हो गए थे।सोमवार को एक ओर जहाँ राजौरी आईईडी धमाके में शहीद चित्रेश को आखिरी विदाई दी गई, वहीं दूसरी ओर देहरादून का एक और लाल सीमा पर आंतकियों से लोहा लेते हुए शहीद हो गया। जम्मू-कश्मीर के पुलवामा में सोमवार सुबह सुरक्षाबल और आतंकियों के बीच मुठभेड़ में देहरादून के मेजर विभूति कुमार ढौंडियाल समेत चार जवान शहीद हो गए। घर में खबर लगते ही मातम छा गया , घर में तीन बहनो का इकलौता भाई हमेशा के लिए उन्हें छोड़ के चला गया। पिछले वर्ष ही वो वैवाहिक बंधन में बंधे थे, उनकी शहादत की खबर से पूरा परिवार बिखर गया। खबर पता लगते ही पड़ोसी और रिस्तेदार उनके घर आवास ढांढस बधाने पहुंच गए । पिताजी स्व. केएन ढौडियाल सीडीओ आफिस में थे, जिनका सात साल पहले उनका हार्टअटैक से निधन हो गया था। दो माह पहले ही शहीद ढौंडियाल छुट्टी पर घर आए थे, और अपनी शादी की खुशियों को संजोये हुए थे
बता दे की जम्मू-कश्मीर के पुलवामा में सोमवार सुबह सुरक्षाबल और आतंकियों के बीच मुठभेड़ में शहीद मेजर विभूति कुमार ढौंडियाल का निवास देहरादून के नेश्विवला रोड के 36 डंगवाल मार्ग में हैं। 31 वर्षीय मेजर विभूति कुमार ढौंडियाल सेना के 55 आरआर (राष्ट्रीय राइफल) में तैनात थे। मेजर विभूति ढौंडियाल मूल रूप से पौड़ी गढ़वाल के निवासी थे। जानकारी के अनुसार पुलवामा में इंटरनेट सेवा बंद कर दी गई है। एरिया को घेर लिया गया है। 55 RR, पुलिस और सीआरपीएफ का संयुक्त ऑपरेशन जारी है। ये मुठभेड़ पुलवामा के पिंगलीना में चल रही है। मुठभेड़ में मेजर डीएस डोंडियाल शहीद हुए हैं। उनके अलावा हेड कॉन्स्टेबल सेवा राम, अजय कुमार और हरि सिंह भी शहीद हो गए। खबर है की वहीं जैश-ए-मोहम्मद के 2 आतंकियों को ढेर कर दिया गया है। सूत्रों की मानें तो ये आतंकी 14 फरवरी को हुए हमले के फिदायनी हमलावर आदिल अहमद डार के करीबी हैं।