anadolu yakası escort - bursa escort - bursa escort bayan - bursa bayan escort - antalya escort - bursa escort - bursa escort -
istanbul escort - istanbul escorts -
ümraniye escort - bursa escort - konya escort - maltepe escort - eryaman escort - antalya escort - beylikdüzü escort - bodrum escort - porno izle - istanbul escort - beyliküdüzü escort - ataşehir escort - van escort -
Connect with us
Uttarakhand festival : when will harela be harvested??? method of sowing Harela
Image : सांकेतिक फोटो ( Harela Sowing Method Uttarakhand)

HARELA

लोकपर्व

उत्तराखंड में कब बोया जाएगा हरेला और कब काटा जाएगा??? जानें हरेला बोने की विधि

Harela Sowing Method Uttarakhand:     उत्तराखंड में 16 जुलाई को मनाया जाएगा हरेला पर्व, इस दिन बोया जाएगा हरेला...

When Harela Sowing: जानें कब बोया जाएगा हरेला: उत्तराखंड अपनी संस्कृति और रीति रिवाजो समेत विभिन्न त्योहारों के लिए पूरे विश्व भर में एक अनोखी पहचान रखता है जिसके चलते यहां पर अक्सर ऋतुओं के आगमन पर भी कई प्रकार के त्यौहार मनाए जाते हैं उन्ही मे से एक प्रमुख लोकपर्व है हरेला जो विशेष रूप से ऋतु परिवर्तन का आगाज करता है और कुमाऊं एंव गढ़वाल क्षेत्र के लोगों द्वारा बड़े धूमधाम से मनाया जाता है। हर वर्ष की तरह इस वर्ष भी हरेला पर्व 16 जुलाई को मनाया जाएगा जिसको लेकर लोगों में उत्सुकता बनी हुई है। हरेले का त्यौहार सावन मास से एक गत को मनाया जाता है जिसके चलते इस वर्ष हरेला आगामी 7 जुलाई को बोया जाएगा।
जानें कब काटा जाएगा हरेला: बताते चले हरेला को 9 दिन पहले बोने के बाद दसवें दिन इसे काटा जाता है यानी 16 जुलाई को हरेला काटा जाएगा।

यह भी पढ़े :Happy harela wishes 2024: जानें लोकपर्व हरेला की खासियत, किसकी पूजा होती है इस दिन

हरेला बोने की विधि
1.हरेला को तिमिले या मालू के पत्ते के दोने या बांस की टोकरी व मिट्टी के बर्तन में बोया जाता है हालांकि अब लोग इसे प्लास्टिक की छोटी टोकरियों मे भी बो सकते है।
2.तीन, पांच या सात टोकरियों में मिट्टी भरी जाती है और इनमें पांच या सात अनाज डाले जाते हैं जिसमे जौ, गेहूं, मक्का, धान, उड़द, गहत और चना आदि शामिल है ।
3. इसके बाद इसे साफ स्थान में छाया पर रखा जाता है और हर दिन थोड़ा-थोड़ा पानी इनमें डाला जाता है।
4.पांचवें दिन से अनार के पेड़ की लकड़ी से इनकी गुड़ाई की जाती है।
5.दसवें दिन जिस दिन हरेले का त्योहार मनाया जाता है, उस दिन इनकी पूजा की जाती है और इन्हें घर के मंदिर, ईष्ट देवता, ग्राम देवता और स्थानीय देवताओं को चढ़ाया जाता है।

उत्तराखंड की सभी ताजा खबरों के लिए देवभूमि दर्शन के व्हाट्सएप ग्रुप से जुड़िए।।

More in HARELA

deneme bonusu casino siteleri deneme bonusu veren siteler deneme bonusu veren siteler casino slot siteleri bahis siteleri casino siteleri bahis siteleri canlı bahis siteleri grandpashabet
To Top
हिमाचल में दो सगे नेगी भाइयो ने एक ही लड़की से रचाई शादी -Himachal marriage viral पहाड़ी ककड़ी खाने के 7 जबरदस्त फायदे!