हमारे समाज में आए दिन ऐसी अनेक घटनाएं होती रहती है जो हास्य का कारण तो बनती ही है साथ ही लोगों को इन घटनाओं में परेशानी भी उठानी पड़ती है। पहाड़ो में आजकल ज्यादातर शादियां दिन की ही होती है इसका सबसे बड़ा कारण यह है कि रात में शराब पीकर बवंडर करने वाले लोगों की भी हमारे समाज में कोई कमी नहीं है। हर कोई अपना काम शांतिपूर्वक संपन्न करना चाहता है परन्तु अल्मोड़ा में हुई शादी में शांति कहीं नजर ही नहीं आई। शादियों के सीजन में इन दिनों गांव-घरों और शहरों में धूमधाम मची हुई है लेकिन अल्मोड़ा से सामने आई दो शादियों में धूमधाम की जगह धूम-धडाम हो गई। इस धूम-धडाम में पहले गुरुवार को घरातियों ने बारातियों को जमकर धुना और उसके बाद दूसरे दिन बारातियों ने उन्हीं घरातियों को जमकर कूट दिया। अल्मोड़ा के भैंसियाछाना विकासखंड में हुई मार-काट की यह शादियां क्षेत्र में चर्चा का विषय बनी हुई है। फिलहाल किसी भी पक्ष ने अब तक कोई रिपोर्ट दर्ज नहीं कराई है।
प्राप्त जानकारी के मुताबिक अल्मोड़ा जिले के भैंसियाछाना विकासखंड के सत्यों गांव निवासी देव सिंह के बेटे सूरज सिंह की बरात गुरुवार को इसी विकासखंड के दशों गांव में गई थी। बरात के गांव में पहुंचने के बाद खाना खाने तक तो सभी वैवाहिक कार्यक्रम शांतिपूर्वक संपन्न हो रहे थे। परंतु खाना खाने के बाद जैसे ही डीजे में डांस शुरू हुआ तो बराती और घराती आपस में भिड़ गए और मामला मारपीट तक पहुंच गया। जिसमें दशों गांव के लोगों ने सत्यों के बरातियों की जमकर धुनाई कर दी। घरातियों की मारपीट से घायल बरातियों ने जैसे-तैसे अपनी जान बचाई, और रात को ही अपने घर चले गए। दूसरे दिन शुक्रवार को उसी दुल्हन के भाई की बरात भैंसियाछाना विकासखंड के ही चनोली गांव में गई हुई थी। जैसे ही बरात गांव में पास पहुंची तो वहां पहले से मौजूद सत्यो गांव के एक दर्जन से अधिक युवाओं ने कुछ बरातियों पर हमला कर बीती रात का बदला लिया। बड़े बुजुर्गो ने बीच-बचाव में आकर मामले को जैसे-तैसे शांत कराया। दुल्हन के घर पहुंचने से पहले हुए इस विवाद के बाद शादी की खुशियां गायब हो गई और शादी सिर्फ रस्म अदायगी तक सीमित रह गई। राजस्व पुलिस से मिली जानकारी के अनुसार अभी तक किसी भी पक्ष ने मारपीट की रिपोर्ट दर्ज नहीं कराई है।