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Uttarakhand news panchkula family suicide case update.
Image : social media ( Panchkula family suicide case)

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देहरादून

परिवार के 7 लोगों की खुदकुशी मामले में बड़ा खुलासा पड़ोसियों ने बयां की कहानी क‌ई राज खुले

Panchkula family suicide case  : एक ही परिवार के सात लोगों ने की आत्महत्या, दिव्यांग बच्चों के लिए एनजीओ चलाता था परिवार, पड़ोसियों ने किए कई खुलासे

Panchkula family suicide case update  : हरियाणा के पंचकूला में सामूहिक आत्महत्या करने वाला मित्तल परिवार उत्तराखंड की राजधानी देहरादून के कौलगढ़ मे 3 साल से किराए पर रह रहा था जो एक साल पहले ही देहरादून छोड़कर चंडीगढ़ रहने के लिए चले गए थे जहां पर प्रवीण मित्तल चाइल्ड लाइफ केयर मिशन नाम का एनजीओ चलाते थे जो दिव्यांग बच्चों के लिए काम करते थे। कौलगढ़ रहने वाले मित्तल परिवार के बारे में पड़ोसियों ने बहुत सी जानकारी सांझा की है। इतना ही नहीं बल्कि प्रवीण मित्तल की जेब से जो आधार कार्ड बरामद हुआ है वह 274 कौलगढ़ पते का है । जानकारी के मुताबिक मित्तल परिवार मूल रूप से चंडीगढ़ का रहने वाला था जिनके परिवार के सदस्य कार में मृत पाए गए थे इतना ही नही बल्कि ये कार मालदेवता मे रहने वाले गंभीर सिंह नेगी की थी। गंभीर और प्रवीण मित्तल की दोस्ती एनजीओ में काम करने के दौरान हुई थी जिस पर प्रवीण मित्तल ने कहा था कि वह उनके नाम पर एक कर लेना चाहते हैं जिस पर गंभीर सिंह ने भी हामी भर दी थी और फाइनेंस कराकर कार अपने नाम पर खरीदी थी जिसे 2021 से प्रवीण मित्तल ही इस्तेमाल कर रहे थे।

यह भी पढ़े :Uttarakhand: एक ही परिवार के 7 लोगों ने की खुदकुशी, कर्ज से थे परेशान बच्चे भी शामिल

Panchkula family suicide case update: अभी तक मिली जानकारी के अनुसार राजधानी देहरादून के कौलगढ़ की निवासी मित्तल परिवार की पड़ोसन रही राजकुमारी नौटियाल ने बताया कि मित्तल परिवार काफी मिलनसार था जिनके अपने पड़ोसियों से अच्छे संबंध थे इसके साथ ही उनका किसी से कोई भी विवाद नहीं था। मित्तल परिवार ने मकान नौ हजार रुपये महीने किराए पर लिया था। जब वह यहां से मकान छोड़कर जा रहे थे तो राजकुमारी नौटियाल उनसे मिली भी थी जब उन्होंने मित्तल परिवार से पूछा कि मकान क्यों छोड़ रहे हैं तो उन्होंने बताया कि किराया बढ़ जाने के कारण अब वह नीबूंवाला में किराए पर मकान ले रहे हैं। लेकिन इसके बाद से उनका मित्तल परिवार से संपर्क नहीं हुआ। जिस मकान में मित्तल परिवार रहता था वह दो बार बिक चुका है जिसमें अभी किसी ठेकेदार का सामान पड़ा हुआ है और एक ट्रैक्टर खड़ा है। मित्तल परिवार के पड़ोस में रहने वाले बच्चों की मित्तल परिवार के बच्चों से अच्छी दोस्ती थी जिस पर 7 वीं कक्षा में पढ़ने वाली बच्ची ने बताया कि दुर्विका, हार्दिक और डलिसा उसके अच्छे दोस्त थे। तीनों ब्लूमिंग बर्ड्स स्कूल में पढ़ते थे स्कूल से आने के बाद सभी यहीं गली में खेलते थे। पूरे परिवार के एक साथ खत्म हो जाने की बाद हर किसी की आँखे नम है खासकर उनकी जो मित्तल परिवार को अच्छे से जानते थे। मित्तल परिवार की आत्महत्या की गुत्थी अभी सुलझी नहीं है जिस पर पुलिस हत्या सुसाइड दोनों एंगल से जांच कर रही है।

दो सुसाइड नोट हुए बरामद (Panchkula family suicide case uttarakhand connection)

पुलिस हत्या और आत्महत्या के एंगलों की जांच कर रही है जिसमें पुलिस को मौके से दो सुसाइड नोट भी मिले हैं जिस पर सूत्रों का कहना है कि सुसाइड नोट पर फाइनेंसर लगातार कर्ज वापसी का दबाव बना रहे थे जिसके कारण परिवार को डराया धमकाया जा रहा था इतना ही नहीं बल्कि पूरे परिवार को जान से मारने की धमकी तक मिल रही थी। प्रवीण मित्तल के ससुर राकेश गुप्ता और पुलिस ने जानकारी देते हुए बताया कि प्रवीन पर करोड़ों रुपये का कर्ज था जिसके कारण वह परेशान थे। हालांकि सुसाइड नोट की हैंडराइटिंग की जांच के लिए पुलिस ने सुसाइड नोट को फॉरेंसिक लैब भेजा है वहीं उन फोन कॉलों की जांच भी की जा रही है जो प्रवीन मित्तल को फाइनेंसरों की ओर से आते थे। जहर खाकर आत्मा ह्त्या करने वालो मे प्रवीन मित्तल (42), उनकी पत्नी रीना (38), मां विमला (71), पिता देशराज (72), जुड़वां बेटियां ध्रुविका और डलिशा (11), बेटा हार्दिक (14) शामिल था। मूलरूप से हिसार के रहने वाले प्रवीन मित्तल का परिवार साल 2007-2008 में देहरादून से पंचकूला शिफ्ट हुआ था।

करोडो के घाटे मे चल रहे थे प्रवीन मित्तल ( Panchkula family suicide case)

प्रवीन मित्तल ने पहले बैंक से लोन लेकर स्क्रैप की फैक्ट्री लगाई जिसमें उन्हें करोड़ों का घाटा हुआ था इसके बाद बैंक करप्ट होने पर प्रवीन ने देहरादून में फाइनेंसरों से कर्ज लेकर टूर एंड ट्रेवल का बिजनेस किया लेकिन वह भी नहीं चल पाया इसके बाद प्रवीन दोबारा पिंजौरा शिफ्ट हो गए थे लेकिन लगातार फाइनेंसरों के दबाव के बीच प्रवीन ने संकेतडी मे 25 दिन पहले किराए पर मकान लेकर परिवार के साथ रहने का फैसला लिया था। प्रवीन के भतीजे अंकित ने बताया कि 2007 में उनके चाचा के ऊपर कर्ज था लेकिन उन्होंने इस तरह का फैसला कभी नहीं लिया और 30 अप्रैल को चाचा पूरे परिवार के साथ शादी में शामिल होने के लिए दिल्ली तक पहुंचे थे जहां पर उनका परिवार काफी खुश था शादी समारोह में प्रवीन ने खूब डांस भी किया। 10 मई को जब अंकित ने अपने चाचा से बात की थी तो उनकी बातें सुनकर ऐसा नहीं लग रहा था कि वह इस तरह का कदम उठाएंगे जिससे उनकी परिवार की एक साथ मौत पर कई सवाल खड़े उठ रहे हैं। जानकारी में सामने आया है कि प्रवीन मित्तल ने अपने सुसाइड नोट में लिखा है कि उनके परिवार के सभी सदस्यों के मौत के बाद उनका अंतिम संस्कार उसके बुआ का लड़का संदीप अग्रवाल करेगा।

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Rachna Bhatt

रचना भट्ट एक अनुभवी मिडिया पेशेवर और लेखिका हैं, जो पिछले कई वर्षों से पत्रकारिता के क्षेत्र में सक्रिय हैं। उन्होंने पत्रकारिता में मास्टर डिग्री प्राप्त की है और समाज, संस्कृति समसामयिक मुद्दों पर अपने विश्लेषणात्मक लेखन के लिए जानी जाती हैं।

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