भारतीय सर्वेक्षण विभाग (Geological Survey of India) के डीजी (महानिदेशक) बने डॉक्टर राजेंद्र, इतने प्रतिष्ठित पद पर पहुंचने वाले हैं कुमाऊं मंडल के पहले व्यक्ति..
उत्तराखण्ड के वाशिंदे अपनी काबिलियत के दम पर आज देश-विदेश में छाए हुए हैं। आज हम आपको राज्य के एक और ऐसी ही होनहार शख्सियत से रूबरू करा रहे हैं जो भारतीय भूगर्भ सर्वेक्षण विभाग कोलकाता के महानिदेशक बन गए हैं। जी हां.. हम बात कर रहे हैं मूल रूप से राज्य के पिथौरागढ़ जिले के रहने वाले डॉक्टर राजेंद्र सिंह गर्खाल की, जिन्हें भारतीय भूगर्भ विज्ञान सर्वेक्षण संस्थान कोलकाता (Geological Survey of India) का नया महानिदेशक नियुक्त किया गया है। सबसे खास बात तो यह है कि इतने प्रतिष्ठित पद पर पहुंचने वाले वह कुमाऊं मंडल के पहले व्यक्ति हैं। उनकी इस अभूतपूर्व उपलब्धि से जहां उनके परिवार में हर्षोल्लास का माहौल है वहीं पूरे क्षेत्र के साथ ही गृहजनपद में भी खुशी की लहर है।
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प्राप्त जानकारी के अनुसार मूल रूप से राज्य के पिथौरागढ़ जिले के धारचूला क्षेत्र के सोसा के नियांग तोक निवासी डॉक्टर राजेंद्र सिंह गर्खाल भारतीय भूगर्भ विज्ञान सर्वेक्षण संस्थान कोलकाता में महानिदेशक बन गए हैं। बता दें कि बीते दिनों कोलकाता में भारतीय भूगर्भ सर्वेक्षण विभाग के महानिदेशक पद का कार्यभार ग्रहण करने वाले राजेंद्र के पिता स्वर्गीय पदम सिंह गर्खाल और माता मनसती देवी गर्खाल गांव में रहकर ही कृषि पशुपालन का कार्य करते थे। बचपन से ही मेधावी छात्र रहे डॉक्टर राजेंद्र कुमाऊं विश्वविद्यालय से एमएससी करने के बाद वर्ष 1986 में भू वैज्ञानिक के पद पर चयनित हुए। जिसके बाद उन्होंने अपनी कड़ी मेहनत से आज यह मुकाम हासिल किया है। तीन भाई बहनों में सबसे बड़े राजेंद्र ने अपनी इस अभूतपूर्व उपलब्धि का श्रेय अपनी स्वर्गीय बुआ नंदा गर्खाल, माता-पिता और शिक्षकों को दिया है। उन्होंने अपनी बुआ के मार्गदर्शन में ही पढ़ाई भी की थी।
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