उत्तराखण्ड: पहाड़ के एक डीएम ऐसे भी ,जब पढ़ाई के बीच आयी गरीबी तो डीएम ने उठाया पूरा खर्चा
पहाड़ो में जहाँ अधिकतर लोग अच्छी शिक्षा और एक अच्छे जीवन यापन के लिए शहरो की ओर पलायन कर चुके है, वही अब पहाड़ो में अधिकतर वे लोग बचे है जो अपनी आर्थिक स्थति की वजह से शहरो की ओर पलायन नहीं कर सकते है। हम बात कर रहे है अल्मोड़ा जिले के नैनोली, भगतोला निवासी आनंद आर्या की सबसे बड़ी पुत्री अंकिता आर्या की जिसने इसी वर्ष जीजीआईसी भगतोला से 82 प्रतिशत अंकों के साथ इंटरमीडिएट की परीक्षा उत्तीर्ण की। अंकिता के पिता मजदूरी कर परिवार का गुजारा करते हैं। अंकिता की मां काफी लम्बे समय से बीमार है और इसके साथ ही उसके दो बहनें और एक छोटा भाई भी है। इन सबकी जिम्मेदारी के अलावा घर की भी पूरी जिम्मेदारी अब अंकिता के ही कंधो पर है। अंकिता ने इंटर तो पास कर लिया लेकिन आगे की शिक्षा का सपना घर की आर्थिक स्थति के बोझ के तले दब गई ओर इसी के चलते जिलाधिकारी नितिन सिंह भदौरिया ने अंकिता की पढाई का पूरा खर्चा उठाने की जिम्मेदारी ली।
बता दे की अल्मोड़ा के जिलाधिकारी नितिन सिंह भदौरिया होनहार लड़की अंकिता के लिए भगवान बनकर आए जिन्हीने मेधावी लड़की के रहने, खाने और फीस का वहन भी स्वयं करने का आश्वासन दिया है। अंकिता को इंटर करने के बाद उसकी आगे की पढ़ाई के साथ साथ ,उसके छोटी बहनों की भी चिंता थी। होनहार अंकिता अपने पिता के साथ जिलाधिकारी से मिलने पहुंच गई। जहाँ जिलाधिकारी ने अंकिता से अनेक सवाल पूछे और उसके उत्तर से इतना प्रभावित हुए की, उन्होंने उसकी पढ़ाई और रहने, खाने की जिम्मेदारी लेते हुए उसको एसएसजे परिसर में प्रवेश दिलवा दिया। डीएम नितिन भदौरिया की इस मदद से अंकिता की आंखे खुशी से छलक उठी, अंकिता ने जिलाधिकारी का दिल से आभार जताते हुए उनकी उम्मीदों पर खरा उतरने का वादा किया।