सीआरपीएफ ने दी कुंवर को बड़ी जिम्मेदारी, बनाएं गए अपर महानिदेशक (additional dgp)..
नायाब प्रतीभा के धनी देवभूमि उत्तराखंड की होनहार प्रतिभाएं आज हर क्षेत्र में छाई हुई है। उत्तराखण्डवासी आज ऊंची-ऊची पदों पर विराजमान होकर देवभूमि उत्तराखंड का गौरव बढ़ा रहे हैं। बात अगर सैन्य क्षेत्र की करें तो पहाड़ वासियों का सेना प्रेम किसी से छुपा नहीं है। इसलिए तो खुद देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देवभूमि उत्तराखंड को सैन्य धाम की संज्ञा दी थी। आज हम आपको सीआरपीएफ में तैनात राज्य के एक ऐसे ही वाशिंदे से रूबरू करा रहे हैं जिसने अपनी मेहनत और लगन के बलबूते एक ऊंची पोस्ट पर प्रमोशन पाकर न सिर्फ खुद की पहचान बनाई है बल्कि देवभूमि उत्तराखंड का नाम भी रोशन किया है। जी हां.. हम बात कर रहे हैं राज्य के पिथौरागढ़ जिले के रहने वाले कुंवर सिंह भण्डारी की, जो अब सीआरपीएफ के अपर महानिदेशक (additional dgp) बन गए है। कुंवर की इस उपलब्धि से जहां उनके गांव एवं परिवार में खुशी की लहर है वहीं पूरे क्षेत्र में भी हर्षोल्लास का माहौल है।
अपने पहले ही प्रयास में सीआरपीएफ के असिस्टेंट कमांडेंट पद पर चयनित हुए थे कुंवर:-
प्राप्त जानकारी के अनुसार राज्य के पिथौरागढ़ जिले के डीडीहाट तहसील के खेतार भण्डारी गांव के रहने वाले कुंवर सिंह भण्डारी को सीआरपीएफ के अपर पुलिस महानिदेशक (additional dgp) पद पर पदोन्नति प्राप्त हुई है। इस पद पर पदोन्नति होने के साथ ही अब कुंवर की जिम्मेदारियां भी बढ़ गई है। इससे पहले कुंवर सीआरपीएफ के पुलिस महानिरीक्षक पद पर कार्यरत थे और वर्तमान में उनकी पोस्टिंग आंतरिक सुरक्षा अकादमी माउंट आबू राजस्थान में हैं। 1984 में अपने पहले ही प्रयास में सीआरपीएफ के असिस्टेंट कमांडेंट पद पर चयनित होने वाले कुंवर भण्डारी ने अपनी प्रारम्भिक शिक्षा दूनाकोट के जूनियर हाईस्कूल से प्राप्त की। तत्पश्चात उन्होंने इण्टर की परीक्षा राइका अल्मोड़ा से उप्तीर्ण की तथा पिथौरागढ़ महाविद्यालय से स्नातकोत्तर की पढ़ाई पूरी की। जिसके बाद वह अपनी मेहनत के दम पर सीआरपीएफ में चयनित हुए और आज अपनी लगन एवं कठिन परिश्रम के बलबूते यहां तक पहुंचे हैं। बताया गया है कि अपनी उत्कृष्ट व सराहनीय सेवा के लिए उन्हें कई पुरस्कारों से सम्मानित किया गया है जिनमें राष्ट्रपति पुलिस मेडल भी शामिल हैं।