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Jyoti Bhatt Dance Teacher rudrapur
फोटो - देवभूमि दर्शन

उत्तराखण्ड

ऊधमसिंह नगर

रूद्रपुर की ज्योति भट्ट का शास्त्रीय नृत्य में ऐसा हुनर अकादमी से संवार रही बच्चों का भविष्य

Jyoti Bhatt Dance Teacher: मूल रूप से राज्य के अल्मोड़ा जिले के छोटे से गांव की रहने वाली है ज्योति, रूद्रपुर में स्वरमयी म्यूजिक एवं डांस एकेडमी संचालित कर युवाओं को दे रही संगीत एवं नृत्य के साथ ही वादन की शिक्षा…

Jyoti Bhatt Dance Teacher
विषम भौगोलिक परिस्थितियों से घिरे उत्तराखण्ड राज्य में प्रतिभाओं की कोई कमी नहीं है। खासतौर पर आज राज्य की बेटियां सभी क्षेत्रों में अपनी काबिलियत का परचम लहराकर सपनों की ऊंची उड़ान भर रही है। आज हम आपको राज्य की एक और ऐसी ही होनहार बेटी से रूबरू कराने जा रहे हैं जो नौनिहालों को नृत्य एवं संगीत कला में पारंगत कर रही है। जी हां… हम बात कर रहे हैं मूल रूप से राज्य के अल्मोड़ा जिले के छोटे से गांव कठपुड़िया की रहने वाली ज्योति भट्ट की, जिन्होंने अपनी प्रारम्भिक शिक्षा गांव से ही प्राप्त कर एक संगीत शिक्षिका बनने का मुकाम हासिल किया है। वर्तमान में वह उधमसिंह नगर जिले के रूद्रपुर तहसील क्षेत्र में अपनी म्यूजिक एवं डांस एकेडमी के माध्यम से युवाओं को संगीत एवं नृत्य की शिक्षा दे रही है। आपको बता दें कि एक बेहद सामान्य परिवार से ताल्लुक रखने वाली ज्योति भट्ट के पिता हरीश चंद्र भट्ट प्राइवेट जॉब करते हैं जबकि उनकी मां मुन्नी भट्ट एक कुशल गृहिणी हैं।

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देवभूमि दर्शन से खास बातचीत –

Swarmayi Music And Dance Academy: देवभूमि दर्शन से खास बातचीत में ज्योति भट्ट ने बताया कि वर्तमान में वह उधमसिंह नगर जिले के रूद्रपुर तहसील क्षेत्र में रहती है। ज्योति बताती है कि उन्होंने अपनी प्रारम्भिक शिक्षा अल्मोड़ा जिले के छोटे से गांव कठपुड़िया से प्राप्त करने के उपरांत गुरु नानक इंटर कॉलेज रूद्रपुर से इंटरमीडिएट की परीक्षा उत्तीर्ण की। तदोपरांत उन्होंने सरदार भगत सिंह कॉलेज से स्नातक एवं परास्नातक की डिग्री हासिल की। इसके साथ ही उन्होंने प्रयाग समिति से गायन तथा नृत्य में प्रभाकर किया। ज्योति कहती हैं कि वैसे तो संगीत में उनकी रुचि बचपन से ही थी, बचपन में उन्हें अपने दादाजी से संगीत की प्रेरणा मिली थी। परंतु उन्होंने 12वीं की परीक्षा उत्तीर्ण करने के संगीत सीखना शुरू किया। प्रयाग समिति से गायन तथा नृत्य में प्रभाकर करने के साथ ही उन्होंने रुद्रपुर में महेश चंद्र झाँ एवं हल्द्वानी में चंद्रशेखर तिवारी से संगीत की शिक्षा प्राप्त की। उन्होंने नेहा श्रीधर से नृत्य कला की सीखी। अपनी शिक्षा ग्रहण करने के उपरांत अब वह रूद्रपुर में ही स्वरमयी म्यूजिक एवं डांस एकेडमी संचालित कर युवाओं को संगीत एवं नृत्य कला में दक्ष कर रही है। उनकी यह एकेडमी गंगापुर रोड पर दक्ष चौक के पास तपस्या विहार में स्थित है। जहां गायन एवं नृत्य के साथ ही वादन की शिक्षा भी दी जाती है।यह भी पढ़िए: उत्तराखंड की शैरी गैरोला के पहाड़ी नृत्य का शास्त्रीय रूप आपका दिल खुश कर देगा

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