Guldar attack in Champawat: वन विभाग कर रहा लापता महिला की तलाश, क्षेत्रवासियों ने जताई बाघ के हमले की आंशका…
बाघ कहें या फिर गुलदार, पर जो भी हो राज्य के चम्पावत जिले में इन दिनों इन्हीं का आतंक पसरा हुआ है जिस कारण न केवल क्षेत्रवासी दहशत और भय के साए में जीने को मजबूर हैं वहीं बीते दो माह में क्षेत्र की दो महिलाएं भी काल का ग्रास बन चुकी है। ऐसे ही एक खबर आज फिर सामने आ रही है, जिससे दहशतज़दा ग्रामीणों की चिंता और भी अधिक बढ़ गई है। बताया गया है कि बीते रोज क्षेत्र की एक महिला गाय चराने के लिए जंगल गई थी। परंतु गाय तो अपने घर वापस लौट आई लेकिन महिला का अभी तक कोई पता नहीं चल पाया है। ऐसे में क्षेत्र की हर जुबान पर इसी बात की चर्चा हों रही है। क्षेत्रवासी तो यहां तक कह रहे हैं कि हो सकता है बाघ ने इस महिला पर भी हमला कर दिया हों। उधर ग्रामीणों की सूचना पर वन विभाग की टीम लापता महिला की तलाश में जुट गई है।
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प्राप्त जानकारी के अनुसार मूल रूप से राज्य के चम्पावत जिले के चक्कू गांव निवासी दिनेश कुमार की पत्नी पुष्पा देवी रोज की तरह बुधवार सुबह भी गाय को चराने के लिए जंगल गई थी। परंतु बुधवार शाम तक वह घर नहीं लौटी जबकि दिनेश की गाय घर वापस आ गई। देर शाम तक पुष्पा के घर वापस ना आने से चिंतित परिजनों ने पहले तो खुद ही उसकी खोजबीन शुरू की परंतु आसपास जब पुष्पा का कहीं पता नहीं चला तो उन्होंने इसकी जानकारी वन विभाग को दी। जिस पर रेंजर हेम चंद्र गहतोड़ी और वन दरोगा चतुर सिंह के नेतृत्व में पहुंचे वन कर्मियों ने महिला की तलाश शुरू की। इस संबंध में पुष्पा की तलाश कर रही वन विभाग की टीम का नेतृत्व कर रहे रेंजर हेम चंद्र गहतोड़ी का कहना है कि चक्कू गांव से ढाई किमी दूर तक जंगल की छानबीन करने पर ना तो किसी वन्यजीव के लक्षण मिले हैं और कहीं भी चप्पल, कपड़े या कोई ऐसे निशान हैं। बता दें कि चंपावत जिले में बाघ, बीते छह दिसंबर को ढकना बडोला गांव की महिला मीना देवी और नघान गांव के रिखवाड़ी जंगल में 31 जनवरी को एक महिला चंद्रा देवी को अपना निवाला बना चुका है।(Guldar attack in Champawat)